मोती ( पर्ल ) pearl एक रोचक ज्योतिषीय जानकारी

मोती ( पर्ल ) pearl एक रोचक ज्योतिषीय जानकारी

मोती एक अर्ध-कीमती रत्न है जो मोती के दाने से बनता है। मोती का  दाने  भी एक प्रकार का कैल्शियम कार्बोनेट ही  होता है जो कि सीप के अंदर बनता है। जब कोई परजीवी या अन्य वस्तु कोई कण  सीप के अंदर प्रवेश करती है, तो सीप उसे बाहर निकालने की कोशिश करती  है। इस प्रक्रिया में, सीप कैल्शियम कार्बोनेट जमा करता है, जो अंततः मोती के दाने का रूप ले लेता है उसे ही मोती कहा जाता है ।

मोती प्राकृतिक रूप से समुद्र में पाए जाते हैं, लेकिन इन्हें कृत्रिम रूप से भी बनाया जा सकता है। कृत्रिम मोती बनाने के लिए, सीप को एक कृत्रिम परजीवी या वस्तु के साथ प्रवेशित  करवाया  जाता है।

मोती विभिन्न आकारों,  और रंगों में पाए जाते  हैं। सबसे आम रंग सफेद और सिल्वर कर  हैं, लेकिन मोती अन्य रंगों में भी आते हैं, जैसे काला, नीला, गुलाबी और हरा क्रीमी इत्यादि मोती के प्रकार होते है जिन्हे रंगो के आधार पर वर्गीकृत किया गया है ।

मोती का उपयोग आभूषण बनाने के लिए किया जाता है, मोतिओं के कुछ प्रकार और भी है वो भी वर्गीकरण का एक भिन्न आधार है

समुद्री मोती: ये मोती समुद्र में नेचुरल प्रोसेस से बनते है।

ताजे पानी के मोती: इन मोतियों को ताजे पानी में पाए जाने वाले मोती के दाने से बनाया जाता है।

कृत्रिम मोती: इन मोतियों को कृत्रिम रूप से लैब में बनाया जाता है।

रंग के आधार पर मोती को निम्न प्रकार से विभाजित किया जा सकता  हैं:

सफेद मोती: ये मोती सबसे आम लोकप्रिय प्रकार के मोती हैं।

चांदी के रंग का मोती: ये मोती सफेद मोतियों की तुलना में थोड़े पीलापन लिए हुआ होते है   है।

गोल्डन मोती: ये मोती सफेद मोतियों की तुलना में सुनहरी रंग के होते है ।

गुलाबी मोती: ये मोती गुलाबी रंग के होते हैं और आभूषणों में प्रयुक्त होते है ।

काले मोती: ये मोती काले रंग के होते हैं।

नीले मोती: ये मोती नीले रंग के होते हैं।

मोती की कीमत  भी कई कारकों पर निर्भर करती है, जैसे कि आकार, आकार, रंग और गुणवत्ता के आधार पर मोती सामान्य से बहुमूल्य तक हो सकते है ।

मोती किस राशि वालों को नहीं पहनना चाहिए

ज्योतिष के अनुसार, मोती चंद्रमा का रत्न है। चंद्रमा एक शीतल ग्रह है, जो मन, भावनाओं और  व्यक्तिगत सपनों को नियंत्रित करता है। मोती को धारण करने से इन क्षेत्रों में सकारात्मक प्रभाव पड़ता है।

हालांकि, कुछ राशियों के लिए मोती धारण करना शुभ नहीं माना जाता है। इन राशियों में मकर, तुला, वृष और कुंभ शामिल हैं। इन राशियों के स्वामी ग्रहों के साथ चंद्रमा की शत्रुता होती है। ऐसे में मोती धारण करने से इन राशियों के जातकों को मानसिक और आर्थिक परेशानी अधिक  हो सकती है। मोती बिना ज्योतिषीय सलाह के धारण नहीं करें

मकर राशि: मकर राशि का स्वामी ग्रह शनि है, जो चंद्रमा का शत्रु है। ऐसे में मकर राशि के जातक मोती धारण नहीं कर सकते हैं।

तुला राशि: तुला राशि का स्वामी ग्रह शुक्र है, जो चंद्रमा का शत्रु है। ऐसे में तुला राशि के जातक मोती धारण नहीं कर सकते हैं।

वृष राशि: वृष राशि का स्वामी ग्रह शुक्र है, जो चंद्रमा का शत्रु है। ऐसे में वृष राशि के जातको भी मोती धारण नहीं करना चाहिए  ।

कुंभ राशि: कुंभ राशि का स्वामी ग्रह शनि है, जो चंद्रमा का शत्रु है। ऐसे में कुंभ राशि के जातको को भी मोती धारण करने से बचना चाहिए ।

हालांकि  संपूर्ण जन्म कुंडली के ज्योतिषीय विश्लेषण के पश्चात ही सही धरना बनानी चाहिए

इसके अलावा, जिन लोगों को अत्यधिक भावुकता या क्रोध की समस्या है, उन्हें भी मोती धारण नहीं करना चाहिए। मोती इन समस्याओं को और बढ़ा सकता है।

यदि आप किसी  योग्य ज्योतिषी से सलाह लेते हैं, तो वे आपको यह बता सकते हैं कि  आपके लिए मोती धारण करना शुभ है या नहीं?

गुडाकेश मोती:-

ज्योतिष में, गुडाकेश मोती को एक अति  शक्तिशाली रत्न माना जाता है। यह चंद्रमा और राहु के योग से बनता है। चंद्रमा मन, भावनाओं और कल्पना का ग्रह है, जबकि राहु एक छाया ग्रह है जो भ्रम और अनिश्चितता का प्रतीक है।

गुडाकेश मोती को धारण करने से व्यक्ति के जीवन में सकारात्मक बदलाव आते हैं। यह मानसिक शांति, आत्मविश्वास और निर्णय लेने की क्षमता को बढ़ाता है। इसके अलावा, यह व्यक्ति को भाग्य और सफलता प्राप्त करने में मदद करता है।

गुडाकेश मोती को धारण करने के लिए सबसे अच्छा समय चंद्रमा की बढ़ती हुई अवस्था है। इसे बुधवार या शनिवार के दिन  ही पहनना चाहिए।

गुडाकेश मोती को धारण करने के कुछ लाभ निम्नलिखित हैं:

मानसिक शांति और स्थिरता: गुडाकेश मोती को धारण करने से व्यक्ति को मानसिक शांति और स्थिरता मिलती है। यह चिंता, तनाव और अवसाद को दूर करने में मदद करता है। क्योंकि यह राहु के प्रभाव को काम करता है और चन्द्रमा के प्रभाव को बढ़ा देता है

आत्मविश्वास और निर्णय लेने की क्षमता: गुडाकेश मोती को धारण करने से व्यक्ति में आत्मविश्वास और निर्णय लेने की क्षमता बढ़ती है। यह व्यक्ति को सही निर्णय लेने में मदद करता है।

भाग्य और सफलता: गुडाकेश मोती को धारण करने से व्यक्ति को सुखद भाग्य और सफलता प्राप्त होती है। यह व्यक्ति के जीवन में सकारात्मक बदलाव लाता है।

हालांकि, कुछ राशियों के लिए गुडाकेश मोती को भी धारण करना शुभ नहीं माना जाता है। इन राशियों में मकर, तुला, वृष और कुंभ शामिल हैं। इन राशियों के स्वामी ग्रहों के साथ चंद्रमा और राहु की शत्रुता होती है। ऐसे में इन राशियों के जातकों को गुडाकेश मोती धारण करने से बचना चाहिए।

यदि आप गुडाकेश मोती धारण करने पर विचार कर रहे हैं, तो किसी योग्य ज्योतिषी से सलाह लेना ही उचित है। वे ही आपको यह बता सकते हैं कि क्या आपके लिए गुडाकेश मोती धारण करना शुभ रहेगा या  नहीं।

गुडाकेश मोती को धारण करने के लिए कुछ नियम निम्नलिखित हैं:

मोती को हमेशा शुद्ध और पवित्र रखें।

मोती को धारण करने से पहले उसे किसी योग्य ज्योतिषी से सिद्ध करवाएं।

मोती को हमेशा सोने या चांदी के हार में पहनें।

मोती को नहाते, सोते या स्नान करते समय न पहनें।

गुडाकेश मोती को धारण करने से व्यक्ति के जीवन में सकारात्मक बदलाव आते हैं। यह व्यक्ति को मानसिक शांति, आत्मविश्वास और भाग्य प्राप्त करने में मदद करता है।

मूंगा और मोती एक साथ पहनने के लाभ:-

ज्योतिष के अनुसार, मूंगा और मोती को एक साथ पहनने से कई लाभ होते हैं। मूंगा मंगल का रत्न है, जो साहस, ऊर्जा और आत्मविश्वास का प्रतीक है। मोती चंद्रमा का रत्न है, जो मन, भावनाओं और शांति का प्रतीक है। जब मन भी नियंत्रित हो और आत्मविश्वास भी हो तो व्यक्ति कई सकारात्मक सफलताएं प्राप्त करता है |

मूंगा और मोती एक साथ पहनने से व्यक्ति को इन सभी क्षेत्रों में लाभ होता है। यह व्यक्ति को साहसी, ऊर्जावान, आत्मविश्वासी और शांत बनाता है। इसके अलावा, यह व्यक्ति के  मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार करने में मदद करता है ऐसी भी ज्योतिषीय मान्यता है ।

मूंगा और मोती एक साथ पहनने के कुछ लाभ निम्नलिखित हैं:

  • साहस और ऊर्जा: मूंगा और मोती को एक साथ पहनने से व्यक्ति में साहस और ऊर्जा सयुक्त रूप से बढ़ती है। यह व्यक्ति को चुनौतियों का सामना करने और सफल होने में मदद करता है।
  • आत्मविश्वास: मूंगा और मोती को एक साथ पहनने से व्यक्ति में आत्मविश्वास बढ़ता है। यह व्यक्ति को सही निर्णय लेने और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने में मदद करता है। व्यक्ति अवसाद से दूर रहता है
  • मानसिक शांति: मूंगा और मोती को एक साथ पहनने से व्यक्ति को मानसिक शांति मिलती है। यह चिंता, तनाव और अवसाद को दूर करने में सहायक रहता है।
  • शारीरिक स्वास्थ्य: मूंगा और मोती को एक साथ पहनने से व्यक्ति के शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार होता है। यह रोगों से लड़ने की क्षमता को बढ़ाता है। रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्दि होती है

मूंगा और मोती एक साथ पहनने के लिए कुछ नियम निम्नलिखित हैं:

मूंगा और मोती दोनों को हमेशा शुद्ध और पवित्र रखें।मूंगा और मोती को धारण करने से पहले उन्हें किसी योग्य ज्योतिषी से सिद्ध करवाएं।बेहतर परिणाम के लिए मूंगा और मोती को हमेशा सोने या चांदी में ही पहने ।मूंगा और मोती को नहाते, सोते या स्नान करते समय न पहनें।

काले  मोती के फायदे:-

काले रंग के मोती को शनि का रत्न माना जाता है। शनि ग्रह न्याय, कर्म और समय का ग्रह है। काला मोती को धारण करने से इन क्षेत्रों में सकारात्मक प्रभाव पड़ता है।

काले मोती को धारण करने से व्यक्ति को निम्नलिखित समस्याओं से भी राहत मिलने की सम्भावना रहती है  :

नजर लगना

शत्रुओं का भय

कानूनी परेशानिया

अकाल मृत्यु

काले  मोती को धारण करने से पहले किसी योग्य ज्योतिषी से सलाह लेना उचित रहता  है। वे आपको यह बता सकते हैं कि क्या आपके लिए काला मोती धारण करना शुभ है या नहीं क्योंकि शनि और चन्द्रमा के साथ अन्य ग्रहों की दृष्टियाँ  भी देखि जाती है ।

काले  मोती को धारण करने के लिए कुछ विशेष  नियम निम्नलिखित हैं:

काले मोती को हमेशा शुद्ध और पवित्र रखें।

काले मोती को धारण करने से पहले उसे किसी योग्य ज्योतिषी से सिद्ध करवाएं।

काले मोती को हमेशा सोने या चांदी के हार में पहनें।

काले मोती को नहाते, सोते या स्नान करते समय न पहनें।

मोती धारण करने के  मंत्र निम्नलिखित है: जानकुंडली और ज्योतिषीय सलाह से ही मंत्रो का पवित्रतापूर्वक ध्यान और उच्चारण करें

ॐ नमो भगवते चंद्रमंडलाय नमः

ॐ चंद्रमसे नमः

ॐ चंद्रचन्द्राय नमः

ॐ शशीनाथाय नमः

ॐ क्षीरोदधिनिवासाय नमः

ॐ श्रवणप्रियाय नमः

ॐ सोमपुत्राय नमः

ॐ मनोजाताय नमः

ॐ त्रिलोकनाथाय नमः

ॐ नमोस्तुते

इन  मन्त्रों  का जाप करते हुए मोती को धारण करने से मोती के लाभों में वृद्धि होती है।

मोती धारण करने का मंत्र जाप करते समय निम्नलिखित बातों का ध्यान रखें:

मंत्र को साफ और स्पष्ट रूप से उच्चारण करें।

मंत्र का जाप धैर्य और एकाग्रता से करें।

मंत्र का जाप नियमित रूप से करें।

मोती धारण करने के मंत्र का जाप करने से व्यक्ति को मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार होता है। यह व्यक्ति को भाग्य और सफलता प्राप्त करने में भी मदद करता है। मोती धारण करने के पश्चात अपने इष्टदेव के प्रति और ज्योतिषशस्त्रों और प्राचीन ऋषि मुनि गुरु परंपरा पर विश्वास  रखे ईश्वर आपका कल्याण करेगा | जय गुरुदेव

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